आज के समय में दर्जी का कार्य करने वाले देश में बहुत से भारतीय हैं जिनमे से कुछ कामगार यूनियन के माध्यम से जुड़ें हुए हैं जिनमें से एक का नाम भारतीय दर्जी यूनियन है जिसका कार्यालय बनारस में हैं इस यूनियन में सारे धर्म के लोग जुड़े हुए हैं जिसका जातिगत संस्था और हम से कोई लेना देना नहीं है। हमारा अभियान जातिगत (दर्जी) व क्षत्रिय राजपूत वंशावली से सम्बंधित बंधुओं को जोड़ना है। जिससे समाज में फ़ैल रही अज्ञानता और सामाजिक स्तर को बेहतर करना है। आधुनिक समय में मनुष्य की पहचान केवल वंश और कर्म के आधार पर ही रह गयी अब ये हमारा कर्त्तव्य है कि हम समाज को हमारा इतिहास और हमारे पूर्वजो और योद्धाओं के देश के लिए दिए गए योगदान को याद रखें और उनकी महानता को सबको बताए। वर्तमान में, हमारी पहचान कर्म के अनुसार यानि दर्जी से और अतीत के हम राजपूत क्षत्रिय वंशावली से है, इसलिए हम दर्जी राजपूत हैं। हमारे समाज के कुछ बुद्धिजीवियों ने फूल मालाओं के लालच में समाज के इतिहास को जानने के बाद भी स्वयं तक सीमित रखा और समाज के युवाओं के साथ धोखा किया , जो भी सामाजिक समस्या हल करने आया वो खुद से ही नया उपनाम लेकर आया और समस्या को और भी ज़्यादा गंभीर करके छोड़ा। कुछ चंद महानुभावों ने राजनैतिक लालसा में दर्जी राजपूत समाज में अतिक्रमण करवा दिया। ऐसे महानुभावों से सावधान रहें अपने विवेक का प्रयोग करके सही दिशा का चुनाव करें। आप से अनुरोध है कि हमारी टीम का सहयोग करें और अभियान जारी रखने में हमारी मदद करें।
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